CG : BJP विधायक की मौजूदगी में ग्रामीणों ने NTPC के अफसरों के मुंह में झोंक दी राख, मौके से भाग रहे अफसरों को ग्रामीणों ने घेरा ….. मचा हड़कंप

BJP विधायक की मौजूदगी में ग्रामीणों ने NTPC के अफसरों के मुंह में झोंक दी राख, मौके से भाग रहे अफसरों को ग्रामीणों ने घेरा ….. मचा हड़कंप

कोरबा : कोरबा में एनटीपीसी प्रबंधन की वादाखिलाफी से नाराज ग्रामीणों ने अफसरों के मुंह पर राख झोंक दी। ग्रामीणों के इस गुस्से के बाद मौके पर हड़कंप मच गया। आनन फानन में CISF के जवानों ने अफसरों को बचाने की कोशिश की, लेकिन नाराज ग्रामीणों ने अफसरों को घेरकर उन्हे पावर प्लांट से निकलने वाले राख से नहला दिया। बताया जा रहा है कि इस पूरे घटनाक्रम के दौरान मौके पर कटघोरा से बीजेपी विधायक प्रेमचंद पटेल मौजूद रहे, जो कि प्रबंधन और ग्रामीणों के बीच वार्ता के लिए पहुंचे थे।

गौरतलब है कि औद्योगिक नगरी कोरबा जिला में विस्थापन एक बड़ी समस्या है। कोयला खदान और पावर प्लांट के राखड़ बांधो के लिए ग्रामीणों की जमीन तो अधिग्रहित कर ली गयी। लेकिन आज भी बड़ी संख्या में प्रभावित किसान और ग्रामीण अपने हक के लिए आंदोलन कर रहे है। कुछ ऐसा ही आंदोलन विगत 2 जून 2025 से एनटीपीसी के धनराख राखड़ बांध पर चल रहा था। बताया जा रहा है कि राखड़ बांध से उड़ने वाली राख की गंभीर समस्यसा, नौकरी सहित 7 सूत्रीय मांगो को लेकर प्रभावित ग्रामीण धरना पर बैठे थे।

आंदोलन कर रहे ग्रामीणों की कोई सुनवाई नही होने पर नाराज ग्रामीणों ने धनरास राखड़ बांध से होने वाले राख परिवहन के कार्य को पूरी तरह से बाधित कर दिया गया। जिसके बाद गुरूवार 5 जून की शाम एनटीपीसी के जवाबदार अफसर मौके पर ग्रामीणों से चर्चा के लिए पहुंचे। बताया जा रहा है कि इस चर्चा में कटघोरा विधायक प्रेमचंद पटेल, राजस्व विभाग से तहसीलदार, पुलिस और सीआईएसएफ की टीम मौके पर मौजूद थी। लेकिन इस बातचीत में सार्थक निर्णय नही होने पर ग्रामीणों का गुस्सा फूट पड़ा और अफसरों को मौके से भागना पड़ा।

बीच बैठक से अफसरों के उठने पर भड़का ग्रामीणों का आक्रोश

धनरास राखड़ बांध पर चर्चा के लिए पहुंचे एनटीपीसी के अफसर और ग्रामीणों के बीच शाम 4 बजें से चर्चा शुरू हुई। करीब ढाई घंटे तक हुए चर्चा के बाद भी बैठक बेनतीजा रहा। बताया जा रहा है कि ग्रामीणों की मांग पर उचित निर्णय लिये बगैर ही एनटीपीसी के अफसर बीच बैठक से उठकर जाने लगे, जिससे ग्रामीणों को गुस्सा फूट पड़ा। अफसर और स्थानीय विधायक कुछ समझ पाते, इतने में नाराज ग्रामीणों ने वापस लौट रहे अफसरों के मुंह पर राख झोंक दी। इस घटना के बाद मौके पर भगदड़ मच गयी। आनन फानन में सीआईएसएफ के जवान अफसरों को बचाने के लिए आगे आये। लेकिन ग्रामीणों ने एनटीपीसी के विरोध में नारेबाजी करते हुए अफसरों को घेरकर उन्हे राख से नहला दिया।

NTPC ने 10 दिनों का समय मांगा

एनटीपीसी के राखड़ बांध से प्रभावित ग्रामीणों का गुस्सा देखने के बाद अफसर पसीना-पसीना हो गये। इसके बाद बीजेपी विधायक राजस्व अधिकारी और पुलिस की मौजूदगी में देर शाम ही दोबारा बैठक करायी गयी। ग्रामीणों की जायज मांग को लेकर बीजेपी विधायक प्रेमचंद पटेल ने अपनी बात रखी। जिस पर एनटीपीसी के अफसरों ने ग्रामीणों की मांग को पूरा करने के लिए 10 दिनों का समय मांगा है। बताया जा रहा है कि एनटीपीसी अफसरों के इस आश्वासन के बाद ग्रामीणों ने भले ही आंदोलन अभी बंद कर दिया है। लेकिन अनुमान लगाया जा रहा है कि इसके बाद भी यदि एनटीपीसी प्रबंधन अपनी बात से मुकरता है। तब प्रभावित ग्रामीण बड़ा आंदोलन कर सकते है।

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