चने की भाजी खाने से उजड़ा परिवार, फूड पॉइजनिंग या कीटनाशक का असर…

चने की भाजी खाने से उजड़ा परिवार, फूड पॉइजनिंग या कीटनाशक का असर…

रीवा:- फूड पॉइजनिंग या कीटनाशक के असर से उजड़ा परिवार सर्दियों के मौसम में चाव से खाई जाने वाली चने की भाजी एक गरीब परिवार के लिए काल बन गई.रीवा जिले के गढ़ थाना अंतर्गत ग्राम पंचायत गढ़ में जहरीली भाजी के सेवन से एक व्यक्ति की मौत हो गई, जबकि उसकी पत्नी और बेटी की हालत गंभीर है.शुरुआती जांच में मामला अत्यधिक कीटनाशक के प्रभाव या फूड पॉइजनिंग का माना जा रहा है.

रात के भोजन के बाद बिगड़ी तबीयत

प्राप्त जानकारी के अनुसार, गढ़ निवासी श्याम कली कोल बीते 23 दिसंबर को अपने खेत से चने की भाजी तोड़कर लाई थी। रात में इसे पकाने के बाद परिवार के तीन सदस्यों शंकर कोल, उनकी पत्नी श्याम कली और पुत्री साधना ने भोजन किया। रात करीब 10 बजे तीनों को अचानक तेज उल्टी और दस्त शुरू हो गए.परिजनों ने पहले उन्हें स्थानीय क्लीनिक ले गए, लेकिन हालत बिगड़ती देख उन्हें रीवा के संजय गांधी अस्पताल में भर्ती कराया गया.

अस्पताल में चले कई दिनों के उपचार के बाद, शुक्रवार की रात शंकर कोल (पिता) की इलाज के दौरान मौत हो गई। वहीं, उनकी पत्नी और बेटी की हालत आज दिनाँक 28 दिसम्बर की सुबह9 बजे से खतरे से बाहर बताई जा रही है। मौत की खबर सुनते ही गांव में सन्नाटा पसर गया और आदिवासी बस्ती में मातम छा गया.

मृतक अपने पीछे तीन बच्चों का भरा-पूरा परिवार छोड़ गया है.

ग्रामीणों और परिजनों का अनुमान है कि चने की फसल को बचाने के लिए खेत में भारी मात्रा में कीटनाशक दवाओं का छिड़काव किया गया था.भाजी को ठीक से न धोए जाने के कारण जहर शरीर में फैल गया. वहीं एक संभावना यह भी जताई जा रही है कि भाजी पकाते समय उसमें कोई विषैला जीव गिर गया होगा.

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